असम सरकार ने केंद्र को लिखा पत्र, कहा- 17 मई से 2 हफ्ते आगे बढ़ाया जाए लॉकडाउन

सर्वानंद सोनोवाल ने कहा, ‘हमने केंद्र से लॉकडाउन को दो और हफ्तों के लिए बढ़ाने की अपील की है. हमने इस बारे में अपने विस्तृत विचार उन्हें पहले ही भेज दिए हैं

गुवाहाटी. असमके मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल ने शुक्रवार को पीएम नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है. पत्र सोनेवाल ने केंद्र सरकार से लॉकडाउन   को 18 मई से दो और हफ्तों के लिए आगे बढ़ाने का आग्रह किया है. कोरोना वायरस के चलते लागू लॉकडाउन का तीसरा चरण 17 मई को समाप्त हो रहा है.

सीएम सोनोवालने कहा कि सभी राज्यों को लॉकडाउन की अवधि बढ़ाने को लेकर शुक्रवार तक अपनी प्रतिक्रिया देनी थी और असम सरकार पहले ही अपने पक्ष से केंद्र को अवगत करा चुकी है. उन्होंने कहा, ‘हमने केंद्र से लॉकडाउन को दो और हफ्तों के लिए बढ़ाने की अपील की है. हमने इस बारे में अपने विस्तृत विचार उन्हें पहले ही भेज दिए हैं.’

केंद्र के फैसले का इंतजार

मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने बंद के चौथे चरण में उन रियायतों पर भी अपने विचार रख दिए हैं जो वह राज्य के लिए चाहते हैं. उन्होंने कहा, ‘भारत सरकार को इस पर विचार करने दिया जाए. मैं अभी इसके बारे में ज्यादा नहीं कहना चाहता. सभी राज्यों ने केंद्र को लिखा है जो बंद की अवधि बढ़ाए जाने पर फैसला लेगा.’ सोनोवाल ने कहा कि इस बात की पूरी आशंका है कि वैश्विक महामारी के कारण उत्पन्न होने वाली चुनौतियां आने वाले समय में और बढ़ेंगी लेकिन इस बात पर भी जोर दिया कि घबराने की कोई जरूरत नहीं है.

सामाजिक दूरी के नियम का करें पालन

उन्होंने कहा, ‘यह हमारे लिए बड़ी चुनौती होगी. मैं जनता से केवल यह आग्रह करता हूं कि वे सामाजिक दूरी के नियम का पालन करें. हमें धैर्य के साथ इसका सामना करना होगा. कोविड-19 असाधारण, अभूतपूर्व चुनौती है.’ मुख्यमंत्री ने कहा कि जारी लॉकडाउन के दौरान, राज्य के सरकरी तंत्र ने ऐसे करीब 44 लाख लोगों को राशन उपलब्ध कराया जो राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा कानून के तहत लाभार्थी नहीं थे.

सोनोवाल ने कहा, ‘कई गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) और लोग इस संकट के समय गरीब लोगों की मदद करने के लिए आगे आए. हम उनके आभारी हैं.’ सोनोवाल ने चिकित्सकों, नर्सों और अन्य चिकित्सा कर्मियों समेत अग्रिम मोर्चे पर काम कर रहे लोगों के अलावा पुलिस एवं मीडिया जैसी आवश्यक सेवाओं के लोगों के प्रति भी आभार व्यक्त किया जिन्होंने लोगों का जीवन बचाने में “अत्यधिक योगदान’’ दिया है.

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