भारतीय रिटेलर समूह ने अमेजन पर प्रतिबंध लगाने की मांग की, जानिए पूरा मामला
नई दिल्ली,VON NEWS: भारतीय खुदरा विक्रेताओं के एक प्रमुख समूह ने बुधवार को सरकार से Amazon.com इंक के स्थानीय परिचालन पर प्रतिबंध लगाने का आग्रह किया। दरअसल, अमेजन द्वारा भारत में व्यापार के लिए कुछ ही विक्रेताओं को तरजीह देने के बाद देश के खुदरा विक्रेता विरोध पर उतर आए हैं। रायटर्स की रिपोर्ट में अमेजन के कुछ ऐसे दस्तावेज सामने आए हैं जिनमें इस बात का उल्लेख है कि इस दिग्गज ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म ने भारतीय नियामकों को धोखे में रखा और गोपनीय रणनीति बनाई। ये दस्तावेज 2012 से 2019 के बीच के हैं। इनमें ऐसी बातें लिखी गई हैं जो नरेंद्र मोदी सरकार, देश के छोटे-बड़े खुदरा कारोबारियों, बड़ी स्थानीय कंपनियों और उद्योग जगत को ठीक नहीं लगेंगे।
भारत में 8 करोड़ खुदरा स्टोर का प्रतिनिधित्व करने वाले कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) ने एक बयान में कहा कि है रायटर की रिपोर्ट चौंकाती है इसलिए भारत में अमेजन के संचालन पर तुरंत प्रतिबंध लगा देना चाहिए। समूह ने वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल से कहा कि वह भारत में अमेजन के परिचालन पर प्रतिबंध के लिए तुरंत फैसला लें।
हालांकि, अमेजन ने व्यापारी समूह के बयान पर किसी भी तरह का कोई जवाब नहीं दिया है। लेकिन CAIT के लगातार विरोध के बाद अमेजन ने रायटर की रिपोर्ट को रीट्वीट करते हुए कहा कि हम रिपोर्ट की आलोचना करते हैं और रायटर की रिपोर्ट अधूरा, तथ्यात्मक रूप से गलत है। इसने कहा कि अमेज़न भारतीय कानूनों का अनुपालन करता है। इस मामले पर भारत के वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के एक प्रवक्ता से संपर्क करने पर उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया।
रॉयटर्स की रिपोर्ट में क्या है
रॉयटर्स ने जो खुलासे किए हैं उसके मुताबिक, अमेजन की वेबसाइट के जरिये भारत में होने वाली कुल ऑनलाइन बिक्री का दो-तिहाई हिस्सा उसके महज 35 सेलर्स के हाथों में है। मालूम हो कि मौजूदा समय में अमेजन का रिलायंस इंडस्ट्रीज और फ्यूचर ग्रुप के साथ भी विवाद चल रहा है। यह मामला अदालत में चल रहा है।