फ्लाइट कैंसलेशन व रीशेड्यूल चार्ज हो सकता है माफ
नई दिल्ली,VON NEWS: नागर विमानन महानिदेशालय (Directorate General of Civil Aviation) ने शुक्रवार को कहा कि कोरोना वायरस की महामारी के कारण विमानन उद्योग भारी मुश्किलों का सामना कर रहा है। उड़ानें रद और बाधित की जा रही हैं। साथ ही वायरस के प्रकोप को देखते हुए लोग भी अपने टिकट कैंसिल करा रहे हैं। यह उचित होगा कि एयरलाइनें यात्रियों की मदद के लिए कैंसिलेशन या रिशेड्यूल चार्ज को माफ करें और उन्हें इंसेंटिव प्रदान करें।
नागर विमानन मंत्रालय ने भी विमानन कंपनियों को कहा है कि वे कोरोना वायरस को लेकर परेशान यात्रियों को बिना शुल्क के टिकट रद करने का विकल्प मुहैया कराएं।
रिपोर्ट के मुताबिक, विमानन कंपनियों ने यात्रियों को निर्धारित तिथि के बदले किसी और दिन यात्रा करने का विकल्प चुनने की सुविधा दी है। डीजीसीए के एक वरिष्ठ अधिकारी की मानें तो मंत्रालय ने विमानन कंपनियों को काफी पहले बिना शुल्क के टिकट रद करने की सुविधा देने को कहा था। अब डीजीसीए ने यात्रियों को कैंसिलेशन चार्ज माफ करने को कहा है। देखना होगा कि विमानन कंपनियां डीजीसीए की इस पहल पर कितना अमल करती हैं।
वहीं विदेशों से लोगों के आने पर पाबंदी के फैसले से पर्यटन और विमानन क्षेत्र को 8,500 करोड़ रुपये के नुकसान का अंदेशा है। यात्रा कंपनियों के संगठन इंडियन एसोसिएशन ऑफ टूर ऑपरेटर्स (Indian Association of Tour Operators) और एसोचैम का कहना है कि यात्रियों की संख्या में भारी गिरावट के चलते पर्यटन और विमानन क्षेत्र की कंपनियां गैर-जरूरी कार्यबल में कटौती करने को मजबूर हो रही हैं।
केंद्र सरकार ने भी माना है कि कारोना वायरस के चलते देश के प्रमुख हवाई अड्डों पर आने वाले अंतरराष्ट्रीय यात्रियों की संख्या में भारी कमी हो सकती है। जाहिर है इसका नुकसान विमानन उद्योग को होने वाला है। नागर विमानन मंत्री हरदीप पुरी ने कल लोकसभा में बताया था कि कारोना वायरस के कारण देश के प्रमुख हवाई अड्डों पर आने वाले अंतरराष्ट्रीय यात्रियों की संख्या में भारी कमी आई है। उन्होंने आने वाले दिनों में भी यात्रियों की संख्या में गिरावट की बात कही।
लोकसभा में बृहस्पतिवार को प्रश्नकाल के दौरान मनीष तिवारी, दयानिधि मारन और कुछ अन्य सदस्यों के इस बारे में पूरक सवाल पूछे थे। इसके जवाब में केंद्रीय मंत्री पुरी ने बताया कि देश में 30 अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे हैं जहां अंतरराष्ट्रीय यात्रियों की संख्या औसतन 70 हजार हुआ करती थी लेकिन कोरोना वायरस के चलते विदेशी यात्रियों में भारी गिरावट आई है। अब जहां अंतरराष्ट्रीय यात्रियों की संख्या घटकर 62 हजार रह गई है।
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